देखें इस फुटबॉलर की कला, फीफा वर्ल्ड कप 2018 का बुखार भी उतर जायेगा

टैलेंट यानि किसी काम करेने की योग्यता किसी भी मनुष्य को भीड़ से अलग करती और भीड़ उस कला के लिए होती जो उस कलाकार को भीड़ से अलग करती है ।
शुक्रवार २२ जून २०१८, सदियों से टैलेंट किसी का मोहताज़ नहीं रहा है । अगर व्यक्ति यह ठान ले कि जिस काम को उसे करना या सीखना है उसके लिए ओ समर्पित है तो कोई भी बाधा उसका रास्ता नहीं रोक सकती ।
भारत में हुए महाभारत में भी एकलव्य नाम का ऐसा हैं शख्स है जिसने द्रोणाचार्य द्वारा शिक्षा न देने जाने पर स्वयं ही अपने परिश्रम से अर्जुन से बेहतर धनुष विद्या प्राप्त कर लिया था । द्रोणाचार्य ने अर्जुन को श्रेष्ठ रखने कि लिए एकलव्य कि दाहिने हाथ का अंगूठा मांग लिया था । दोनों ही बातों से एकलव्य इतिहास में अमर हो गया ।
निचे दिए वीडियो में भी ऐसा ही एक शख्स अपने परिश्रम और टैलेंट कि बलबूते पर दुनिया की लिए अजूबा बना है ।